विषम परिस्थिति से हिम्मत नहीं हारने के लिए प्रेरणास्रोत हैं न्यायाधीश कुमुदिनी पटेल ममता  : मोहन नायक

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सारंगढ़ बिलाईगढ़ //शशिधर पंडा शासकीय महाविद्यालय सरिया के राष्ट्रीय सेवा योजना का सात दिवसीय शिविर देवगांव में आयोजित किया जा रहा, जिसमें मोहन नायक, बरमकेला महाविद्यालय के कार्यक्रम अधिकारी धुनुर्जय बरेठ के अलावा पुसौर महाविद्यालय के प्राचार्य पी. किंडो ने पहुंचकर शिविराथियों को कैरियर मार्गदर्शन करते हुए उन्हें मोटिवेट किया।

कार्यक्रम अधिकारी धनुर्जय बरेठ ने राष्ट्रीय सेवा के महत्व पर प्रकाश डालते हुए शिविराथियों को विस्तार से जानकारी दी।पुसौर महाविद्यालय के प्राचार्य पी. किंडो ने कहा कि राष्ट्रीय सेवा योजना के माध्यम से प्रतिभागियो का समग्र विकास होता है और जीवन में आगे बढ़ने की प्रेरणा मिलती है, जबकि वरिष्ठ पत्रकार मोहन नायक ने कहा कि सरकार द्वारा “बेटी बचाओ,बेटी पढ़ाओ” अभियान चलाया जा रहा, ताकि बेटी पढ़ लिखकर आगे बढ़े, लेकिन यहाँ सभी शिविरार्थी बेटिया ही हैं और कार्यक्रम अधिकारी भी, जिनका संघर्ष सबके लिए प्रेरणा है।उन्होंने बेटियों को किसी भी परिस्थिति में हिम्मत नहीं हारने के प्रेरित करते हुए वित्त मंत्री ओपी चौधरी के सासु माँ कुमुदिनी पटेल (घरेलू नाम ममता) का उदाहरण दिया, जिन्होंने पति के देहावसान के बाद कानून की पढ़ाई शुरू की और कम्पीटिशन परीक्षा में सफल होकर जज बने। परिणामस्वरूप अपनी संतानों को भी अच्छी शिक्षा दी जिसके कारण वे भी बड़े मुकाम पर पहुंचे। इस तरह बेटियां हर मोर्चे पर, हर परिस्थिति में संघर्ष कर मुकाम हासिल करने की माद्दा रखती हैं। शिविर में पुसौर कालेज से श्रीबछ भोय, बरमकेला कॉलेज से अजय श्रीवास, देवनारायण पटेल भी शामिल हुए।

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